साहित्य जगत की सशक्त हस्ताक्षर – सीमा भाटी, बीकानेर
यूं तो लेखन की दिशा में अनेक रचनाकार सलंग्न है, लेकिन इस दौर में साहित्य साधना को पूर्ण समर्पण के साथ जीना और समाज को युग के अनुरूप उत्कृष्ट रचनाएं देना अपने आप में एक अनूठे व्यक्तित्व की निशानी है।
ऐसी ही विविध मुखी रचनाधर्मी साहित्यकार है बीकानेर की सीमा भाटी। राजस्थानी, हिंदी व उर्दू तीनों भाषाओं में समान रूप से पकड़ रखने वाली लेखिका सीमा भाटी साहित्य की विविध विधाओं में लेखन कर साहित्य कोश को समृद्ध करने में अपनी भूमिका का निर्वहन कर रही है, तीनों भाषाओं को अपनी लेखनी से उकेरना सचमुच काबिल-ए- तारीफ है।
सीमा भाटी जहां एक और कहानीकार है वही काव्य जगत में भी अपनी विशिष्ट पहचान रखती है। आप की कहानी की पुस्तक महीन धागे से बुना रिश्ता सचमुच समाज को नई दिशा देने वाली पुस्तक है इस पुस्तक में समाहित कहानियां समाज को नया दिग्दर्शन कराती है। वहीं इन कहानियों को हम आधुनिक कहानी का विशिष्ट रूप भी कह सकते हैं, वहीं इन कहानियों में छिपा मर्म समाज को नई शिक्षा व दिशा प्रदान करने में सक्षम हैं। कहानियों में हिंदी उर्दू व राजस्थानी का भाषा की झलक लेखिका की विशिष्टता उजागर करती है। कहानीकार के रूप में सीमा भाटी की कहानियां पाठकों के लिए पठनीय है, वही समाज को दिशा बोध प्रदान करती है।
काव्य विद्या में भी सीमा भाटी का कोई सानी नहीं है। हिंदी व राजस्थानी कविताओं को काव्य गुणों की विशेषता के साथ प्रस्तुत करना विशिष्टता उजागर करती है। आपका राजस्थानी कविताओं का संग्रह पैल दूज मुझे पढ़ने का अवसर मिला। छोटी-छोटी कविताओं को जिस सरलता के साथ आपने प्रस्तुत कर देश समाज व जीवन के यथार्थ को छुआ है। एक मंचीय कवि के रूप में आपकी विशिष्टता यह दिखाती है आपने कविता को अपने में समेटे हुए हैं। सीमा भाटी ने राजस्थानी व हिंदी में अनेक कविताओं की रचनाएँ की हैं। आपका यह कविता संग्रह आपको एक मंजे हुए कवि के रूप में प्रस्तुत करता है । आपने लोक जीवन से जुड़े अनेक विषयों को आपने काव्य के माध्यम से साकार करने का प्रयास किया है।
सीमा भाटी एक मंचीय कवयित्री के रूप में भी अपनी विशिष्ट पहचान बनायी है। अनेक मंचों के माध्यम आप मुखर होकर कविता वाचन करती है तो श्रोता मंत्रमुग्ध हो जाते हैं। आपकी वाणी में तीनों भाषाओं का संगम देखने को मिलता है जो सुनने वाले को प्रभावित करता है। साहित्यकार सीमा भाटी राजस्थान में अपनी एक विशिष्ट पहचान के साथ प्रतिष्ठित हैं। लंबे समय से आप शिक्षक जीवन को समर्पित हैं। शिक्षा सेवा के साथ आपने साहित्य क्षेत्र में जो कार्य किया है वो अपने आप में अनूठा है। देश की विविध प्रतिष्ठित विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं के माध्यम से निरन्तर आपकी रचनाओं का प्रकाशन होता रहता है ।
सहज, सौम्य, सरल स्वभाव की सीमा भाटी उर्दू विषय पर महाराजा गंगा सिंह विश्वविद्यालय बीकानेर से पीएचडी कर रही है। इन सबके साथ हमेशा लेखन को समर्पित रहने वाली सीमा भाटी को विभिन्न संस्थानों द्वारा अनेक पुरस्कार सम्मान से भी नवाजा गया है। आपकी लेखनी समाज को एक नई दिशा प्रदान करने वाली है। आप जैसी विशिष्ट साहित्यकार हिंदी, राजस्थानी व उर्दू साहित्य जगत् की विशिष्ट धरोहर है। आपकी अनेक पुस्तकें प्रकाशित हुई है। इन पुस्तकों का प्रकाशन गायत्री प्रकाशन, बीकानेर द्वारा बहुत ही सुंदर रूप में किया गया है, पुस्तक की छपाई व कागज उत्कृष्ट श्रेणी का है। विशिष्ट व्यक्तित्व सम्पन्न सीमा भाटी लेखन जगत में एक चिर-परिचित व चर्चित नाम है।